Saturday, June 27, 2020

मै हमेशा से अपने आप को भारत का बेटा कहता हूं: दलाई लामा

(तिब्बत के आध्यात्मिक नेता दलाई लामा ने 23 नवंबर 2019 , महाराष्ट्र के औरंगाबाद शहर में तीन दिवसीय वैश्विक बौद्ध धर्मसभा के दौरान अपनी बात को मीडिया के समाने रखा था)

दुनिया को अहिंसा और अनुकम्पा के प्राचीन भारतीय मूल्यों की जरूरत है।अहिंसा और अनुकम्पा भारत में कई धर्मो के लोगो को शांति और परस्पर सम्मान के साथ रहने में मदद कर रहे हैं। हम हर जगह संघर्ष देख सकते है। जब भी मैं ऐसे संघर्षों के बारे में सुनता हूं तो तो मुझे तकलीफ होती है। इस वक्त दुनिया शांति से रह सकती है अगर वे अनुकम्पा अहिंसा के मूल्यों का पालन करे।
वैचारिक मतभेद एक दार्शनिक मतभेद है लेकिन शांतिपूर्वक जीने के लिए  सहिष्णुता की आवश्यकताा है। अगर समुदाय खुश है तो व्यक्ति भी खुश होगा। मै हमेशा अपने आप को भारत का बेटा कहता हूं। चीन के पत्रकार इसे लेकर मुझ पर सवाल उठाते हैं। मै कहता हूं कि हालांकि मै शारीरिक रूप से तिब्बती हूं लेकिन मैंने अपने जीवन के 60 साल भारत में बिताए हैं।



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